मिशन 2019: लोकसभा चुनाव की रणनीति बनाने को एनडीए की बैठक होगी
लोकसभा चुनावों की रणनीति को लेकर इस माह के आखिर में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) की बैठक होने की संभावना है। भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने एनडीए के विभिन्न घटक दलों के नेताओं के साथ हो रही मुलाकातों में संकेत दिया है कि भाजपा अपने सहयोगी दलों के साथ मिलकर ही रणनीति को अंतिम रूप देगी। शाह ने अभी तक लोजपा नेता रामविलास पासवान व शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे से मुलाकातें की हैं। आज वे अकाली दल के नेता प्रकाश सिंह बादल से मिलेंगे। शाह की जल्दी ही जद (यू) के नेता नीतीश कुमार से भी मुलाकात हो सकती है।
भाजपा सूत्रों के अनुसार इस महीने के आखिर में दिल्ली में एनडीए की बैठक हो सकती है, जिसमें लोकसभा चुनावों की रणनीति पर समग्र विचार किया जाएगा। अमित शाह की विभिन्न घटक दलों के नेताओं से हो रही मुलाकातें इसी बैठक से पहले की तैयारी माना जा रहा है, ताकि सीटों के तालमेल आदि के मुद्दों के बजाए बैठक चुनावी रणनीति पर केंद्रित रहे।
हाल में हुए उपचुनावों में एनडीए को लगे झटकों के बाद भाजपा ने अपने खुद के संपर्क अभियान के साथ सहयोगी दलों को भी साधना शुरू किया है। ‘संपर्क फॉर समर्थन’ अभियान के लिए मुंबई गए अमित शाह ने जहां माधुरी दीक्षित व रतन टाटा से संपर्क किया है। वहीं उन्होंने शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के घर जाकर उनसे मुलाकात की है। बीते दिनों शिवसेना के लोकसभा चुनाव अलग लड़ने की घोषणा के बाद इस मुलाकात को अहम माना जा रहा है। गौरतलब है कि शिवसेना के फैसले के बावजूद भाजपा अधिकृत तौर पर लगातार यही कह रही है कि दोनों दल लोकसभा चुनाव मिल कर लड़ेंगे।
भाजपा के एक प्रमुख नेता ने कहा है कि गठबंधन के दलों में कई मुद्दों पर भले ही एकराय न हो, लेकिन नीतिगत व राजनीतिक मुद्दों पर कोई मतभेद नहीं है। कई मुद्दे संवाद से हल हो जाते हैं। बिहार में सात जून को एनडीए का महाभोज हो रहा है। इसे भी एनडीए की एकता की कवायद से जोड़ा जा रहा है। चूंकि सबसे ज्यादा बैचेनी बिहार के घटक दलों में है। इसकी एक वजह जद (यू) का एनडीए के साथ आना है। अब सीटों का तालमेल नए तरीके से होगा। हालांकि भाजपा के एक बड़े नेता ने संकेत दिए हैं कि जद (यू) को एक दर्जन सीटें दी जा सकती हैं।